ना जाने मेरे साथ ही ऐसा क्यों होता है
जिसे भी चाहता हूँ वो ही नज़रो से दूर होता है
सब के गमो मे साथ दिया मैने
अंधेरो को उजालो मे बदल दिया मैने
डरी सहमी सी तुम सहारा दिया मैने
इम्तिहान तुम्हारा था चिंतन किया मैने
बहुत कुछ खोकर तुमको पाया है मैने
प्यार क्या होता है यह तुमसे सीका है मैने
ना जाओ इतना दूर की तुमको लोटना मुश्किल हो जाये
और इतना दर्द मत सहो की जीना मुश्किल हो जाये


अभिषेक भटनागर ‘मुरादाबादी’

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abhishek

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